26 नवम्बर की आम हड़ताल की तैयारियों में जारी हैं देशभर में सम्मेलन

26 नवम्बर की देशव्यापी आम हड़ताल को सफल बनाने के लिये राज्य स्तरीय सम्मेलन आयोजित किए जा रहे हैं. कुछ राज्यों में ये सम्मेलन, महामारी और लॉकडाउन से पैदा हुए हालातों के चलते, ऑनलाइन आयोजित किए गए. प्रस्तुत है कुछ राज्यों की रिपोर्ट

पंजाबः यहां 26 अक्टूबर को जालंधर के देशभक्त यादगर हॉल में एक सम्मेलन आयोजित किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में भागीदारी हुई. सम्मेलन को ऐक्टू प्रदेश अध्यक्ष राजविंदर राणा, एटक से बांत बराड़, सीटू से रघुनाथ सिंह, इंटक से सुभाष कुमार और सीटू पंजाब से नत्था सिंह ने संबोधित किया. 

सम्मेलन ने जारी किसान आंदोलन के साथ अपनी एकजुटता जाहिर करते हुए, आम हड़ताल को सफल बनाने की तैयारियों के लिये और राज्य में मोदी सरकार की मजदूर विरोधी नीतियों और किसान विरोधी कानूनों के खिलाफ जारी संघर्ष को तेज करने के लिए 11 नवंबर को पंजाब भर में प्रदर्शन आयोजित करने का आहृान किया.

दिल्लीः यहां 21 अक्टूबर को सम्मेलन आयोजित हुआ जिसे ऐक्टू के राज्य अध्यक्ष संतोष राय समेत एटक महासचिव अमरजीत कौर, एचएमएस महासचिव हरभजन सिंह सिद्धु और सीटू, एआईयूटीयूसी, यूटीयूसी, मजदूर एकता कमेटी आदि के प्रतिनिधियों ने संबोधित किया. वक्ताओं ने दिल्ली समेत देशभर में चल रहे जन आंदोलनों के साथ एकजुटता जाहिर करते हुए 26 नवंबर की आम हड़ताल को सफल बनाने के लिये पूरी ताकत लगाने का संकल्प लिया.

असमः यहां गुवाहाटी में 18 अक्टूबर को राज्य स्तरीय सम्मेलन आयोजित हुआ जिसे ऐक्टू की ओर से धीरज दास ने संबोधित किया और अध्यक्षमंडल में बिरेन कलिता शामिल थे. सम्मेलन में खासकर पावर सेक्टर के कर्मियों ने बड़ी संख्या में भागीदरी की. हड़ताल को सफल करने का प्रस्ताव लेने के अलावा सार्वजनिक क्षेत्र की पावर कंपनी एपीडीसीएल के निजीकरण के खिलाफ ग्रामीण एवं शहरी उपभोक्ताओं को साथ लेते हुए संघर्ष तेज करने के लिये इस सेक्टर के नेतागण सुबरना कोंवर और कुकिल कोंवर के नेतृत्व में एक संघर्ष समिति का गठन किया गया और साथ ही केंद्रीय ऊर्जा मंत्री को ज्ञापन देने का प्रस्ताव लिया. हड़ताल की तैयारियों के क्रम में 28 अक्टूबर को ऐक्टू की पहल पर तिनसुकिया में प्रतिवाद सभा आयोजित की गई. 

उड़ीसाः यहां 1 नवंबर को भुवनेश्वर में राज्य सम्मेलन आयोजित हुआ जिसमें ऐक्टू समेत संयुक्त मंच से जुड़े केंद्रीय ट्रेड यूनियन संगठनों और फेडरेशनों के प्रतिनिधि शामिल थे. ऐक्टू की ओर से सम्मेलन को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राधाकांत सेठी और राज्य नेता लिटूलाल ने संबोधित किया और अध्यक्षमंडल में सचिव महेंद्र परिदा शामिल थे. सीटू से जनारदन पति, एटक से रामकृष्ण पांडा, एचएमएस से बीपी दास, इंटक से आर.सी. खुंटिया और एआईयूटीयूसी से जयसेन मेहर ने सम्मेलन को संबोधित किया. वक्ताओं ने खासकर केंद्र सरकार द्वारा लाये गये मजदूर-विरोधी और किसान-विरोधी कानूनों का उल्लेख करते हुए हड़ताल को जोरदार ढंग से सफल बनाने का आहृान किया. 

छत्तीसगढ़ः यहां 27 अक्टूबर को श्रमिकों का ऑनलाइन राज्य स्तरीय सम्मेलन आयोजित हुआ. सम्मेलन को ऐक्टू के राज्य महासचिव बृजेन्द्र तिवारी समेत एटक से हरनाथ सिंह, सीटू से वी.एम. मनोहर, एचएमएस से नाथूलाल पांडे, इंटक से संजय सिंह, बैंक कर्मचारी नेता शिरीष नलगुंडवार, बीमा कर्मचारी नेता सुरेन्द्र शर्मा, केंद्रीय कर्मचारी नेता दिनेश पटेल और बीएसएनएल से आर.के. भट्ट ने संबोधित किया.          

वक्ताओं ने मोदी सरकार की नीतियों का तीव्र विरोध करते हुए देशव्यापी हड़ताल को राज्य में अभूतपूर्व रूप से सफल बनाने का ऐलान किया. सम्मेलन ने तैयारियों के क्रम में 8 नवम्बर तक संयुक्त  जिला/उद्योग/सेक्टर स्तर के सम्मेलनों को खासकर भिलाई, कोरबा, रायगढ़, जगदलपुर, राजनांदगांव,  अंबिकापुर, जांजगीर, धमतरी, बिलासपुर में और अन्य स्थानों में आयोजित करने और हड़ताल तक ग्रास-रुट स्तर पर एक व्यापक अभियान चलाने का निर्णय लिया. इस आनलाइन सम्मेलन में मुख्य प्रस्ताव सीटू के राज्य सचिव धर्मराज महापात्रा ने पेश किया.